भारत में सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी करने वाले लाखों लोग होते हैं। कुछ ही लोग इस परीक्षा में सफल हो पाते हैं। एक शख्स ने तीसरी बार में परीक्षा पास की थी, पहले दो बार असफल रहे थे। शिहाब ने अनाथालय में बिताए अपने बचपन के दिनों में पढ़ाई की थी। उन्होंने हायर एजुकेशन के लिए पैसों की जरूरत को सामना किया।

सरकारी एजेंसी की परीक्षा की तैयारी की और 21 परीक्षाओं में सफलता प्राप्त की। 2004 में वन विभाग, जेल वार्डन, और रेलवे टिकट परीक्षक के पदों पर काम किया। मोहम्मद अली शिहाब का जन्म 15 मार्च, 1980 को हुआ था।

उनके पिता की मौत के बाद उनकी मां ने परिवार का पालन-पोषण किया। उनकी मां ने उन्हें अनाथालय भेज दिया था जहाँ उन्होंने अपने बचपन बिताया। शिहाब की कहानी प्रेरणादायक है जो असफलताओं से नहीं घबराते और सपनों को पूरा करते हैं। उनका बचपन कठिन परिस्थितियों में गुजरा था।

शिहाब ने अपने सपनों के लिए कई संघर्ष किए। तीसरे प्रयास में वह यूपीएससी परीक्षा में सफल हुए। उन्होंने ऑल इंडिया रैंक 226 प्राप्त की। वहने सरकारी परीक्षाओं में भी सफलता प्राप्त की। उन्होंने अपनी कठिनाइयों का सामना किया और नहीं हार मानी। उनकी कहानी अनेकों लोगों के लिए प्रेरणादायक है। शिहाब ने अपनी मां का साथ दिया और परिवार का सारा जिम्मेदारी निभाया। उनका कठिन संघर्ष उन्हें अधिक मजबूत बनाया।

Rishav Roy, a journalist with four years of expertise, excels in content writing, news analysis, and cutting-edge ground reporting. His commitment to delivering accurate and compelling stories sets him...