success story: दोस्तों प्रत्येक वर्ष भारत देश के द्वारा सिविल सेवा UPSC की परीक्षा का आयोजन किया जाता है. और इस कठिन परीक्षा में प्रत्येक साल लाखों उम्मीदार सामिल होते है. लेकिन सफलता कुछ तेज तरार उम्मीदार ही हासिल कर पाते है. वही कुछ उम्मीदार ऐसे भी होते है जो अपने पहले और दुसरे प्रयास में कठिन परिश्रम कर सफलता हासिल कर लेते है. तो बहुत उम्मीदार को लम्बे समय का इंतज़ार करना पड़ता है. आज के इस खबर में हम आपको एक ऐसे आईएएस की कहानी बता रहे है जिन्होंने आंखों की रोशनी नहीं होने के बाद भी जेईई की एग्जाम में सफलता हासिल किये. फिर किये UPSC की तैयारी और सफलता हासिल कर बने आईएएस आइये जानते है आईएएस अंकुरजीत सिंह की UPSC यात्रा के बारे में…

जानकारी के अनुसार आईएएस अंकुरजीत सिंह मूल रूप से हरियाणा के यमुनानगर के निवासी है. बता दे की अंकुरजीत सिंह को बचपन से ही आँखों से दिखाई नही देता था. जिसके कारण उन्हें पढाई लिखाई करने में काफी कठिनाइया होती थी. बता दे कि अंकुरजीत सिंह को स्कूल में ब्लैकबोर्ड पर लिखा हुआ भी सही से नही दीखता था. अंकुरजीत सिंह की माँ उन्हें जोर जोर से पढाई करवाती थी. ताकि उन्हें पढाई समाज आ सके.

वही आपको बता दे कि 12th में एक टीचर के द्वारा प्रोत्साहित किए जाने पर उन्होंने एक अहम् कदम उठाते हुए किसी तरह IIT के लिए फ्रॉम अप्लाई किये. और आँख से न दिखाई देने के बाबजूद भी तैयारी कर के सफलता हासिल किये. इसके बाद अंकुरजीत सिंह सिविल सेवा की तैयारी करने के बारे में सोचे और तैयारी में लग गये. आँख से न दिखने के बाद भी उन्होंने दिन रात पढाई की. और वर्ष 2017 की परीक्षा में सामिल हुए और उन्होंने अपने मेहनत और लगन वर्ष 2017 में पुरे देश में 414वीं रैंक हासिल की और आईएएस बन गये.