दोस्तों किसी भी काम को अगर मेहनत और लगन से किए जाये तो उस काम में सफलता निश्चित ही मिल जाती है. बता दे कि भारत-पाकिस्तान सीमा पर स्थित बाड़मेर की छात्राओं सीमा सिसोदिया और रक्षा जांगिड़ ने बेंगलुरु में दो महीने के फेलोशिप प्रोजेक्ट के दौरान कीट विज्ञान पर रिसर्च कर इतिहास रच दिया है. आइये जानते है इन दोनों बाड़मेर की बेटियों के इस यात्रा के बारे में…
एमबीसी राजकीय कन्या महाविद्यालय बाड़मेर की सीमा सिसोदिया (B.Sc Third Year) और रक्षा जांगिड़ (B.Sc 2nd year) ने इस शोध प्रोजेक्ट को सफलतापूर्वक पूरा किया. वही आपको बता दे कि जब ये छात्राएं बेंगलुरु से लौटीं तो महाविद्यालय परिवार ने उनका उत्साहपूर्वक स्वागत किया.
साथ ही आपको बता दे कि इन छात्राओं ने विज्ञान व प्रौद्योगिकी विभाग के युवा उम्मीदवारों में अनुसंधान के माध्यम से ज्ञान संवर्धन (KARYA) फेलोशिप कार्यक्रम का लाभ उठाया इस कार्यक्रम के तहत राजस्थान के चार छात्रों को चुना गया जिसमें बाड़मेर की ये दो छात्राएं भी शामिल थीं.
महाविद्यालय की सहायक आचार्य श्रीमती विमला ने बताया कि इस शोध प्रोजेक्ट ने छात्राओं को न केवल व्यावसायिक ज्ञान प्रदान किया. बल्कि अनुसंधान के क्षेत्र में भी नई संभावनाएं खोलीं यह पहल अन्य छात्राओं को भी प्रेरित करेगी कि वे अपने सपनों को साकार करने के लिए मेहनत और लगन से काम करें.